डीजल गाड़ियों पर दिल्ली सरकार का बड़ा फरमान

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Tuesday, July 19, 2016-12:39 PM

दिल्ली में नहीं दौड़ेंगी 10 वर्ष से ज्यादा पुरानी डीजल गाडिय़ां

नई दिल्ली (एजैंसियां) :
राजधानी में 10 वर्ष से ज्यादा पुरानी डीजल गाडिय़ों को तुरंत बैन करने का ऑर्डर दिया गया है। नैशनल ग्रीन ट्रिब्यूनल (एन.जी.टी.) ने सोमवार को सरकार से कहा कि 10 वर्ष से ज्यादा पुरानी डीजल गाडिय़ों का रजिस्ट्रेशन रद्द किया जाए। साथ ही, एन.जी.टी. ने कहा कि ऑड-ईवन के दौरान प्रदूषण कम नहीं हुआ। बता दें कि अप्रैल 2015 में ही एन.जी.टी. ने यह फैसला सुनाया था, लेकिन तब से डीजल वाहनों को हटाने के लिए समय सीमा बढ़ाई जा रही थी। 

बता दें कि सुप्रीम कोर्ट ने दिल्ली-एन.सी.आर. में नई डीजल कार और टैक्सियों के रजिस्ट्रेशन पर रोक लगाई हुई है। केंद्र सरकार और कार निर्माता कंपनियों ने यह रोक हटाने की मांग की थी, लेकिन इस मामले में अभी सुप्रीम कोर्ट ने फैसला सुरक्षित रखा है। सुप्रीम कोर्ट ने 16 दिसम्बर 2015 को 2000 सी.सी. से अधिक के वाहनों के रजिस्ट्रेशन पर यह रोक लगाई थी।

नहीं लगाए जा सकेंगे प्रैशर हॉर्न
दिल्ली में स्कूल और हॉस्पिटल्स को ‘नो हांकिंग जोन’ बनाने के लिए कहा गया था। इस पर भी जवाब मांगा गया है। एन.जी.टी. ने इसी के साथ ऑर्डर दिया है कि गाडिय़ों में कोई प्रैशर हॉर्न नहीं लगाए जाएंगे। दोपहिया वाहनों पर भी यह नियम लागू होगा।

ट्रकों को राहत
एन.जी.टी. के सोमवार के आदेश में ट्रकों को राहत मिली है। हालांकि, प्रदूषण फैलाने वाले कारकों में डीजल वाहन अधिक हैं और इनमें ट्रकों से ज्यादा धुआं फैलता है।

सैकेंड हैंड कार बाजार को झटका
आने वाले दिनों में सैकेंड हैंड कार की मांग में गिरावट आ सकती है। ऐसा इसलिए क्योंकि एन.जी.टी. ने दिल्ली.एनसीआर में 10 वर्ष पुराने डीजल वाहनों पर रोक लगा दी है। पुरानी कार के लिए 10 वर्ष का वक्त बहुत अधिक नहीं होता। आजकल करीब 30 से 35 प्रतिशत कारें 10 वर्ष पुरानी स्थिति में बिकने के लिए आती हैं। वहीं किसी भी गाड़ी के लिए रजिस्ट्रेशन 16 वर्ष के लिए जारी किया जाता है जबकि फस्र्ट हैंड सेल्स की बात की जाए तो वह भी अमूमन 6 से 7 वर्ष बाद होती है। ऐसे में 3 वर्ष के लिए कोई सैकेंड हैंड क्यों खरीदेगा?

क्या कहते हैं आंकड़े
- दिल्ली में कुल रजिस्टर्ड होने वाली कारों में 23 प्रतिशत डीजल कारें होती हैं।
- दिल्ली में कुल डीजल कारों की संख्या 6 लाख से अधिक है।
- राजधानी में 10 वर्ष पुराने डीजल वाहनों की संख्या 1,18,773 है।
- 10 वर्ष से ज्यादा पुराने व्यावसायिक डीजल वाहनों की संख्या 34,659 है।


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