Friday, October 11, 2019-11:50 AM
गैजेट डेस्क : गूगल ने अपने क्रोम ब्रॉउजर में एक AI (आर्टीफिशियल इंटेलिजेंस) फीचर पेश किया है। इस AI फीचर की शुरुआत कर के कंपनी नेत्रहीन के साथ दृष्टि क्षीणता की समस्या से परेशान उन लोगों के लिए वेब ब्राउजिंग का अनुभव को बेहतर बनाना चाहती है। इस फीचर के माध्यम से क्रोम ब्रॉउजर मशीन लर्निंग का उपयोग कर के इमेज को पहचानने और वर्णन करने में सक्षम हो पायेगा जिससे उन्हें समझने में ऐसे यूजर्स को मदद मिलेगी।
इसलिए नेत्रहीन यूजर्स नहीं समझ पाते इमेज को
इमेज डिस्क्रिप्शन ऑटोमैटिक रूप से उसी तकनीक का उपयोग करके जनरेट होगी जैसा कि जो गूगल लेंस पर भी काम करती है। दरअसल नेत्रहीन यूजर्स ब्रेल डिवाइसेस या स्क्रीन रीडर्स का इस्तेमाल करते हैं जिनसे ऑल्ट टेक्स्ट (alt text) न दिए जाने की वजह से इंटरप्रिटेशन में बाधा आती है और वेबसाइट का ज्यादातर कंटेंट उनके लिए खो चुका होता है जिससे वह इमेज के बारे में जान सके।
Google की वरिष्ठ प्रोग्राम मैनेजर फॉर एक्सेसिबिलिटी लॉरा एलेन को देखने में समस्या है। उनका कहना है कि स्क्रीन रीडर से वेबसाइट देखने की कोशिश करने पर यह फीचर कई समस्याओं को कम कर देगा।
इमेज का टेक्स्ट डिस्क्रिप्शन "प्रतीत होता है" (appears to be) वाक्यांश का उपयोग करते हैं ताकि उपयोगकर्ताओं को पता चल सके कि यह एक इमेज का वर्णन है। इसलिए उदाहरण के लिए क्रोम ब्रॉउजर कह सकता है, "यह एक मोटर स्कूटर प्रतीत होता है।" यह व्यक्ति को यह बताने के लिए एक संकेत होगा कि यह एआई द्वारा जनरेट किया हुआ इमेज डिस्क्रिप्शन है और पूरी तरह से सटीक नहीं हो सकता है। यह सुविधा केवल स्क्रीन रीडर या ब्रेल डिस्प्ले वाले लोगों के लिए उपलब्ध है।
Edited by:Harsh Pandey